सत्यम् लाइव, 25 अप्रैल, 2021, दिल्ली।। कोरोना महामारी से एक तरफ लॉकडाउन करके घर में बिठाया जा रहा है तो दूसरी तरफ सरल उपाय खोजने वाले आज भी राजीववादी लगे हुए हैं सफलता की सीढी पर चढता हुए भारतीय शास्त्रों का अध्ययन करता एक बहुत बडा वर्ग पुन: भारत की धरा पर आज उपस्थिति है।
गौ माता की महिमा का वर्णन को नेति नेति कहकर छोड देने वालेे ऋषि वर्ग ने आज गौ चिकित्सा को आशाराम बापू के बनारस वाले आश्रम में करके देखा और सफलता पायी है उस प्रयोग को सावधानी पूर्वक पढे और अपने जीवन में अपनायें।
- देशी गाय के शरीर पर हाथ फिराने मात्र से शरीर में ऑक्सीजन की मात्र ठीक होती है ये तो आपने पहले ही सुना होगा। गौ मूत्र या अर्क में स्वच्छ कपड़े को डुबा कर सूंघने मात्र से भी ऑक्सीजन लेवल ठीक होता है यदि प्रात:काल सेवन किया जाता है तब तो समस्त रोगों का निवारण अकेला ही कर लेता है।
- कपूर, अजवाइन, लौंग , इलायची को पीसकर पोटली बनाकर रखे इसे सुंघते रहे, ऑक्सीजन लेवल बराबर होगा।
- गौ अर्क एवं तुलसी अर्क, 1-1 चम्मच को एक गिलास गुनगुन पानी में मिलाकर साथ ही देशी गाय के गोबर के कंडे का राख 1 चम्मच को 1 लीटर पानी में मिला लें, यह पानी पीने से भी ऑक्सीजन लेबल सामान्य होगा।
- देशी गाय के गोबर के कंडे में 10 मिली. देशी गाय का घी डाल देने से एक टन शुद्ध ऑक्सीजन उत्पन्न होगा। जो धुँआ फैलेगा उसमें ध्यान लगाने से शरीर के सम्पूर्ण में वायु का संचरण स्वस्थ होता है।
सुनील शुक्ल
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