मंत्री जी का दार्शनिक अंदाज: परेशानी ही, सुख का आनंद भी देती है

सत्यम् लाइव, 11 जुलाई 2021, दिल्ली।। जब तक व्यक्ति स्वयं सत्ता में नहीं होता है तब तो उसे मंहगाई से जनता परेशान नजर आती है परन्तु जब स्वयं सत्ता में होता है तब उसे महंगाई में विपक्ष की गलत चलाई गयी नीतियॉ के कारण दिखाई देती है और ये गलती उसकी गिनाई जाती है जिससे डर हो कि वो उसके परिवार वाले सत्ता पर आ सकते हैं। उसके बीच में कोई ऐसा व्यक्ति जैसे लाल बहादुर शास्त्री, मुरार जी देसाई जैसे जिन्होंने भारत को भारतीयता के आधार पर खड़ा करने के लिये, अपना जीवन दाव पर लगा दिया। उनके परिवार का सदस्य यदि राजनीति में न है तो उसकी अच्छाईयॉ कभी भी दिखाई नहीं देती है।

सब्जी, गैस सिलेण्डर, डीजल पेट्रोल को लेकर जो भारतीय जनता पार्टी सत्ता न होने पर अनशन कर रही थी, विपक्ष में होने पर अपना रौद्र रूप भारत की जनता को दिखा रही थी अब उससे उसे इसी महॅगाई पर सत्ता पक्ष की गलतियॉ नहीं दिखाई दे रही है बल्कि उससे भी ज्यादा ये समझने वाली बात है कि जो 2014 से पहले सत्ता पक्ष पर दोष लगाये जा रहे थे। उसी दोष को यदि उन पर कहा जाता है तो देश द्रोही होने से लेकर हिन्दु न होने के इल्जाम दिखाई दिये जाते हैं। क्या नीतियॉ अपने समय में बदल जाती हैं? या फिर दोषी दूसरों पर लगाना, ये कलुयग का गुण हैं इस बात पर गम्भीरता से चिन्तन अपरिग्रह को अपनाये समाजसेवी को सोचना पड़ेगा।

वो भी उस समय जब जाग्ररूकता अभियान में राजीव दीक्षित ने असली देशभक्त भारत के नवयुवक में संचार कर दिया है और ऐसा कोई भी विषय उन्होंने नहीं छोड़ा जिस पर चिन्तन कर व्याख्यान न दिया हो। जनसंख्या नियंत्रण की बात करे तो उसके सारे ही पहलू पर विदेश तक की सारी जनसंख्या पर कितना चिन्तन कर रहे हैं या भारत का कितना क्षेत्रफल पर भारतीय अर्थव्यवस्था के दम पर खड़ा है यहॉ तक व्याख्यान में बताया है साथ ही पॉच भूतपूर्व प्रधानमंत्री तक का नाम लिया है परन्तु कार्य उसी शैली पर हो रहा है जो पश्चिमी सभ्यता के आंकलन भारत पर बताये जा रहे हैं। भारतीयता ये दूर कहीं जाकर बौद्विक कराने वाले पश्चिमी सभ्यता का परिचय कराते हैं और वही नियम पर काम होता चला जा रहा है जो 2014 से सत्ता पर दोष लगाकर कुर्सी पायी गयी थी।

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अब मध्य प्रदेश के प्रभारी मंत्री ओम प्रकाश सकलेचा ने मंहगाई पर ऐसा दार्शनिक रुख अपनाते हुए कहा कि सबके कान खड़े हो गये। यहॉ भी दोष वैक्सीन की तुलना, पोलियो से करते हैं और फिर वही दोषारोपण जबकि राजीव दीक्षित जी ने वैज्ञानिक होने के नाते पोलियो सहित वैक्सीन पर भी अपना व्याख्यान में साफ रूख बताया है कि भारतीय पर्यावरण के अनुसार सूर्य स्वयं ये सारी क्रियाऐं करके किसी भी किटाणु को जीवित नहीं रहने देता है। परन्तु मंत्री जी के बयान सुनने के बाद तो जीवन में परेशान से आनन्द की अनुभूति होने लगी है और थोड़ी सी परेशान और बड़ी तो सम्भव है कि भगवान के दर्शन भी होने लगें।

शनिवार 6 जुलाई छतरपुर जिले के प्रभारी मंत्री सकलेचा यहां कुछ कार्यक्रमों में हिस्सा लेने आए थे। पत्रकार के महॅगाई पर सवाल करने पर कहा कि जिंदगी में परेशानी ही, आनंद भी देती है जब तक एक भी परेशानी न आए तो सुख का आनंद भी नहीं आता है। साथ ही मोदी सरकार की नीति की विफलता के सवाल पर सकलेचा ने कहा कि ‘‘यह आप जैसे लोगों की सोच है जो अफवाहें फैला रही हैं’’ कहा कि ‘‘कांग्रेस को पोलियो का टीका लगाने में 40 साल लग गए, लेकिन मोदी ने एक साल के अंदर देश में कोविड-19 टीके का निर्माण कराया और जनता को लगाने का काम शुरू किया।

सुनील शुक्ल

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