फेडरेशन ऑफ आल इंडिया हिंदुस्तान कांस्ट्रक्शन वर्कर 72 घंटे की करेगे हड़ताल..

“हमारी मांगे नही मानी गई तो होगी 72 घण्टे की हड़ताल, सुनील सरकार”

दिल्ली: सरकार को लगातार मजदूरों की परेशानियों से अवगत करा रहे है । हजारो मजदूर बेरोजगार हो गए है । न तो उनकी तनखा समय पर मिल रही है और न ही उनके अन्य भत्ते । 39 जगहों पर मजदूर काम तो कर रहे है। परंतु उनकी सुरक्षा और स्वस्थ की ओर कंपनिया ध्यान नही दे रही । इस लिए एक मत से फेडरेशन ऑफ आल इंडिया ,से मान्यता यूनियन हिंदुस्तान कांस्ट्रक्शन वर्कर यूनियन ने फैसला लिया कि 72 घंटे की हड़ताल की जाए ।

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फेडरेशन के राष्ट्रीय महा सचिव सुनील सरकार ने 13 जून 2018 को दिल्ली के प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में एक प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि सरकार के अधिकृत यूनियन हिंदुस्तान कांस्ट्रक्शन वर्कर यूनियन के बैनर तले देश भर में लगभग 39 स्थानों पर हो रहे निर्माण कार्यो पर काम कर रहे मजदूरों का शोषण बढ़ता चला जा रहा है। समय पर मजदूरी नही मिल रही । केंद्र सरकार द्वारा बनाये गए मजदूर नियम
अधिनियम1948 की उप धारा 11 के नियम अनुसार कार्य क्षेत्र में लगे मजदूर को न्यूनतम मजदूरी भी नही दी जा रही । उनके भविष्य निधि फण्ड की कटौती की जाए,। सरकार हर क्षेत्र में ठेके पर मजदूरों की भर्ती कर रही हैं इस पर तुरन्त रोक लगे । उन्होंने बताया कि मजदुरो किं तनखा कई कई दिनों लेट हो जाती है महीने की 1 या 7 तारीख तक तन्खा बैंक अकाउंट में आ जानी चाहिए या नगद दी जाये। सरकार ने कहा कि श्रमिक कानून अधिनियम के अनुसार परियोजना क्षेत्र में कार्यरत सभी कर्मकारो को मेडिकल सुविधा हो । उन्होंने जोर देकर कहा कि टिहरी शाखा में यूनियन के सदस्यों पर जो भी मुकदमे नैनीताल में दर्ज है उनको तुरंत वापस लिया जाए , मजदूरों के सभी साइडों पर मिलने वाले बेनिफिट मिले ओर जहा प्रोजेक्ट खत्म हो गए है या खत्म होने वाले है वहाँ के मजदूरों की नोकरी की गारंटी मिले।10 हजार मजदूरों को जो निकाल दिया गया है उनको तुरंत बहाल किया जाए।

सुनील सरकार ने बताया कि अगर सरकार ने हमारी बातो पर ध्यान नहीं दिया तो हम अभी 27 से 29 जून , 72 घंटे की हड़ताल पर जाएंगे । इस पर भी सरकार नही जागी तो हम आमरण अनशन भी कर सकते है राष्ट्रीय अध्यक्ष दीपांकर मिश्रा ने बताया कि देश भर की 39 परियोजना पूरी तरह बंद हो जाएगी इसकी जिम्मेदारी सरकार की होगी ,इसमे जलविद्यत, फ्लाईओवर, हाइवे, रेलवे सुरंग , थर्मल ऊर्जा, आदि सभी चल रही परियोजना पूरी तरह बंद रहेगी इसे सरकार को लगभग कई करोड़ो का नुकसान तो होगा ही ओर समय पर काम भी पूरा नही होगा जिसका खामियाजा सरकार भुगतेगी ।इस मौके पर कई पदाधिकारी भी उपाथिति थे ।

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